शुक्रवार, 20 मई 2016

टांसिल्स की होम्यो पैथी चिकित्सा



टांसिल्स की होम्यो पैथी चिकित्सा
उक्त 17 औषधियों के प्रयोग से समस्त प्रकार के टांसिल्स से निजात मिलजाती है और आपरेशन की भी आवश्यक्ता नही पडती

1-फ़ेरम फ़ास(Ferrum Phosphoricum)
==========================
 टान्सलाइटिस की प्रारंभिक अवस्था में जैसे गले में खराश, निगलने में कष्ट, हरारत ,होने पर फ़ेरम फ़ास 6x शक्ति की 3-3 गोलियां दिन में चार बार 3-3 घंटे के अंतराल से लेने पर ला भ मिल जाता है।यह बायो कैमिक द वा है।
2-एको नाइट-30 (Aconititumnapellus-30) 
==============================
ठंण्ड लगने के कारण टांसिल्स अचानक का सूजजाना, सूखीखांसी, हल्का बुखार हो जाने पर एको नाइट-30 (Aconititumnapellus-30) की 5-5 बूंद दिन में तीन बार लाभ न होने तक लें।
3-कैल्केरिया फासCalcareaPhos6
=========================
बालकों मे टान्सलाइटिस की समस्या होने पर बच्चा दुबला पतला हो रक्त की कमी हो,खाने पीने की इच्छा न हो, आदि लछणों मेंकैल्केरिया फास CalcareaPhos6x शक्ति की 3-3 गोलियां दिन में चार बार 3-3 घंटे के अंतराल से लेने पर शीघ्र लाभ मिल जाता है। यह बायो कैमिक दवा है।
4-बैराइटा कार्ब-30 (Baryta Carbonica-30)
==============================
टांसिल्स का अधिक सूजजाना, निगलने में अधिक कठनाई हो शीत काल में टान्सलाइटिस की समस्या हो,जब डे कम जोर हों जिस के कारण रोगी भोजन को बिना चबाये ही नि ग ल ने को म ज बूर हो ऐसे में बैराइटा कार्ब-30 (Baryta Carbonica-30) की 5-5 बूंद दिन में तीन बार लाभ न होने तक लें।
5-काली म्यूर-30(KaliMur30)
====================
टान्सलाइटिस इत ना बढ जाये कि सांस भी न लीजा सके टांसिल्स का रंग भूरा हो जाये।ऐसे में काली म्यूर-30(KaliMur-30) की 5-5 बूंद दिन में तीन बार लाभ न होने तक लें।
6-बेला डोना(Beladona-30)
==================
गले के अन्दर से छिला हुआ महसूस हो गले में बिशेष रूप से दाहिनी तरफ़ दर्द हो,टांसिल्स का रंग  लाल हो बेला डोना(Beladona-30) की 5-5 बूंद दिन में तीन बार लाभ न होने तक लें।
7-हिपरसल्फ (Hepar Sulph-200)
======================
टांसिल्स पक जांये मवाद पडने की संभावना हो टांसिल्स कठोर हो जाये, दर्द गले के अतरिक्त कान एवं चेहरे के अन्य भाग तक जाये ऐसे में हिपरसल्फ (Hepar Sulph-200) की 5-5 बूंद दिन में तीन बार लाभ न होने तक लें।यह दवा टांसिल्स  को फ़ोड देती है चीरा लगवाने की जरूरत नही पडती है।
8-साइलीशिया (Silicea-30)
==================
टांसिल्स  की अति उग्र अवस्था मवाद पड जाये सुई चुभने जैसी पीडा हो साइलीशिया (Silicea-30)की 5-5 बूंद दिन में तीन बार लाभ न होने तक लें।
9-लाइको पोडियम (Lycopodium-30)
==========================
टांसिल्स  के कारण घाव हो जायें गर्म चीज के सेवन से कष्ट हो ठंण्डी वस्तु से आराम मिले ऐसे में लाइको पोडियम (Lycopodium-30) की 5-5 बूंद दिन में तीन बार लाभ न होने तक लें।
10-लैकेसिस(Lachesis-30)
=================
टांसिल्स का रंग बैगनी हो जाये स्पर्श करने में भी कष्ट हो तरल पदार्थ निगलने में कष्ट, ठोस पदार्थ निगलने में नही, दर्द कान के पिछ्ले हिस्से तक जाये बांये तरफ़ के टांसिल्स में बिशेष प्रभावी।लैकेसिस(Lachesis-30)की 5-5 बूंद दिन में तीन बार लाभ न होने तक लें।
11-फ़ाइटो लैक्का(Phytolacca-30)
======================
गले का लाल पड जाना ,उस पर नीले धब्बे दिखें गला गर्म हो, जीभ में जकडन,कान में रुकरुक कर दर्द हो जबडा ठीक से न खुले मुंह से लार बहे,दाहिना टांसिल्स बिशेष रूप से सूजा हो। ऐसे में फ़ाइटोलैक्का(Phytolacca-30)की 5-5 बूंद दिन में तीन बार लाभ न होने तक लें।
12-मर्क्युरियस आयोड रूबर(Mercuriusiadatus Ruber-30)
=======================================
बाई तरफ़ के टांसिल्स की स्थित बदतर हो जाना,काग का बढ जाना, गलद्वार सुर्खलाल,ऐसे में मर्क्युरियस आयोड रूबर(Mercuriusiadatus Ruber-30)की 5-5 बूंद दिन में तीन बार लाभ न होने तक लें।
13-पल्सेटिला(Pulsatilla-30)
====================
टांसिलाइटिस के साथसाथ लार ग्रन्थियों मे भी सूजन हो ,कानों मे तेज दर्द हो, कानों की जड में गांठ उभर आई हो जबडा खोलने में अत्यंत कष्ट हो स्तनों और अण्ड कोशों में संक्रमण हो। ऐसे में
पल्सेटिला(Pulsatilla-30) की 5-5 बूंद दिन में तीन बार लाभ न होने तक लें।
14-लेडम (Ledum-200)
============== 
टांसिलाइटिस के कारण गले में टिटेनस की आशंका होने पर लेडम (Ledum-200) की 5-5 बूंद दिन में तीन बार लाभ न होने तक लें।चिकित्स्कीय सलाह भी अवश्य लें।
15-एलूमिना(Alumina-30)
=================
गले में खुश्की गले का एक दम सूखजाना ठंण्ड या नमी के मौसम में टांसिलाइटिस होना,टांसिलाइटिस का कठोर होना, ऐसे में एलूमिना(Alumina-30)की 5-5 बूंद दिन में तीन बार लें शीघ्र लाभ मिलेगा।
16-बैराइटा-म्यूर-30(Baryta Mure-200)
==========================
टांसिल्स की शिकायत काफ़ी पुरानी हो बडे हुये टांसिल्स के कारण सांस ले ने में तकलीफ़ , रक्तमिश्रित कफ़ आये मुख से सडी बदबू आये ,अत्यधिक  कम जोरी, रोगी में तपेदिक के अनुवांशिक लछ्ण होने पर बैराइटा-म्यूर-200(Baryta Mure-200)सप्ताह में एक बारलें।इसके बाद इसकी 30 शक्ति की खुराक अग्ले 15 दिनों तक लेने से रोगी को पूर्ण लाभ मिल जाता है।
17-नेट्रम फ़ास6x( Natrum Phos)
=====================
धूम्र पान और पान मसाला खाने का आदी, क्रोधी स्वभाव ,पेट में अम्लता,जीभ पर सफ़ेद परत, और टांसिल्स की शिकायत  होने पर नेट्रम फ़ास6x( Natrum Phos) की 5-5  गोलिंयां एक सप्ताह त क लेने से आराम हो जाता है।यह बायो कैमिक दवा है।

 































कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें